अगस्ता वेस्टलैंड घोटाला मामले के आरोपी बिचौलिए सुशेन गुप्ता ने बड़ा खुलासा किया है. प्रवर्तन निदेशालय (ED) ने सुशेन गुप्ता की हिरासत की मांग करते हुए अदालत के समक्ष दावा किया कि अगस्ता वेस्टलैंड हेलिकॉप्टर घोटाला मामले में ‘आरजी’ ने साल 2004 से 2016 के बीच 50 करोड़ रुपये की घूस ली. ईडी ने आरोप लगाया कि सुशेन गुप्ता ने ‘आरजी’ द्वारा 50 करोड़ रुपये की घूस लेने की बात तो कबूली है, लेकिन इसका फुलफॉर्म यानी आरजी कौन है यह नहीं बता रहा है.
ईडी ने कहा कि सुशेन गुप्ता जानबूझकर अगस्ता वेस्टलैंड हेलिकॉप्टर घोटाला मामले की जांच को भटकाने की कोशिश कर रहा है. वह आरजी का सही फुलफॉर्म नहीं बता रहा और गलत जानकारी दे रहा है. दरअसल, ईडी को सुशेन गुप्ता की डायरी और पेन ड्राइव में आरजी का कई बार जिक्र किया गया है. इसमें कहा गया कि अगस्ता वेस्टलैंड हेलिकॉप्टर मामले में आरजी ने साल 2004 से 2016 के बीच 50 करोड़ रुपये से ज्यादा की घूस ली.
ईडी ने अदालत में दिए अपने बयान में कहा कि सुशेन गुप्ता आरजी को पहचानता है, लेकिन वह जानबूझकर इसकी जानकारी नहीं दे रहा है. उसने आरजी का फुलफॉर्म रजत गुप्ता बताया, जिसके बाद ईडी ने रजत गुप्ता से पूछताछ की. हालांकि रजत गुप्ता ने ईडी से कहा कि सिर्फ सुशेन गुप्ता ही जानता है कि आखिर आरजी कौन है?
ईडी का मानना है कि सुशेन गुप्ता जानबूझकर आरजी की पहचान नहीं बताना चाहता है. ईडी का यह बयान उस समय सामने आया है, जब लोकसभा चुनाव को लेकर सियासत जारी है. इससे पहले ईडी ने दावा किया था कि अगस्ता वेस्टलैंड हेलिकॉप्टर मामले आरोपी बिचौलिए क्रिश्चियन मिशेल ने पूछताछ के दौरान ‘मिसेज गांधी’ का नाम लिया था. उसने अगस्ता वेस्टलैंड से बातचीत में इटली महिला का बेटा….भारत का अगला पीएम बनेगा जैसे वाक्यांश का इस्तेमाल किया.
इसके बाद जमकर राजनीतिक बवाल हुआ था. भारतीय जनता पार्टी ने इसको मुद्दा बनाकर कांग्रेस पार्टी पर जमकर हमला बोला था. हालांकि बाद में इस मामले पर कांग्रेस ने सफाई दी थी. कांग्रेस ने अपनी दलील में कहा था कि अगस्ता वेस्टलैंड हेलिकॉप्टर मामले में सोनिया गांधी और राहुल गांधी का कोई लेना देना नहीं है.
वहीं, गुरुवार को ईडी ने दिल्ली की पटियाला हाउस कोर्ट में बिचौलिए क्रिश्चियन मिशेल के खिलाफ एक सप्लीमेंट्री चार्जशीट दायर की. सूत्रों के मुताबिक ईडी की इस सप्लीमेंट्री चार्जशीट में मिशेल का बयान और एक एफिडेविट भी शामिल है. सूत्रों का दावा है कि यह चार्जशीट बेहद अहम है और कुछ राजनेताओं व पूर्व ब्यूरोक्रेट्स के लिए समस्या पैदा कर सकती है.